आरवाइए का देशव्यापी ‘युवा दावेदारी मार्च’ : भगत सिंह के सपनों का देश बनाने का संकल्प

इंकलाबी नौजवान सभा (आरवाईए) द्वारा देशव्यापी आह्वान पर 28 सितंबर 2024 को शहीद-ए-आजम भगत सिंह की 117वें जन्मदिन पर ‘युवा दावेदारी मार्च’ का आयोजन किया गया. यह मार्च बिहार, झारखंड, उत्तर प्रदेश, दिल्ली, महाराष्ट्र, बंगाल, असम, पंजाब, हरियाणा, गुजरात, तमिलनाडु, सहित भारत के कई अन्य राज्यों के कई शहरों में आयोजित किया गया, जिसमें हजारों की संख्या में युवाओं ने भाग लिया इस अवसर पर भगत सिंह की प्रतिमाओं पर माल्यार्पण कर जगह-जगह नुक्कड़ सभाओं का आयोजन किया गया.

असंगठित मजदूर मोर्चा, झारखंड का भगत सिंह जयंती आयोजन

भाकपा(माले) से संबद्ध असंगठित मजदूर मोर्चा ने शहीदे आजम भगत सिंह के 117वीं जयंती के अवसर पर पार्श्वनाथ पहाड़ स्थित मधुबन में हजारों की संख्या में जुटे मजदूरों ने भाकपा(माले) के बगोदर विधायक का. विनोद कुमार सिंह, निरसा के पूर्व विधायक का. अरुप चटर्जी, पार्टी के राज्य कमिटी सदस्य और धनवार के पूर्व विधायक का. राजकुमार यादव, मजदूर मोर्चा के केन्द्रीय अध्यक्ष का. निताई महतो, और पार्टी के पोलित ब्यूरो सदस्य का. हलधर महतो के नेतृत्व में मधुबन हटिया मैदान से  बुलंद नारों के साथ रैली निकाली.

पटना साइंस कॉलेज में आइसा ने मनायी भगत सिंह जयंती

शहीदे आजम की 117 वीं जयंती पर आइसा की पटना विश्वविद्यालय इकाई ने पटना साइंस कॉलेज में ‘भगत सिंह के सपनों का भारत’ विषय पर विचार गोष्ठी का आयोजन किया. गोष्ठी में सैकड़ों छात्र-छात्राएं शामिल हुए.

कार्यक्रम का संचालन आइसा विश्वविद्यालय अध्यक्ष नीरज यादव ने किया. कार्यक्रम के मुख्य वक्ताओं में  भाकपा(माले) नेता का. कुमार परवेज, अंग्रेजी के असिस्टेंट प्रोफेसर डॉ. शोभन चक्रवर्ती, इतिहास विभाग के प्रोफेसर डॉ. सतीश कुमार थे. आइसा राज्य सचिव सबीर कुमार और राज्य सह सचिव कुमार दिव्यम ने भी इसे संबोधित किया.

जमुई में जमीन के लिए आंदोलन

नीतीश सरकार ने भूमिहीन, वंचितों और गरीबों को जमीन उपलब्ध कराने का वादा किया था. किंतु, खैरा प्रखंड के चुआं पंचायत अंतर्गत केवाल फरियता गांव में सरकार के इस प्रयास पर भू माफिया की नजर लग गई है. वित्तीय वर्ष 1986-87 में तत्कालीन अनुमंडल पदाधिकारी मान सिंह और अंचलाधिकारी एम बारी ने संयुक्त रूप से कैम्प लगा कर खाता-103, खसरा 799, मौजा केवाल फरियता में 36 महादलित परिवारों को जीवनयापन के लिए सरकार ने प्रति परिवार 22 डि. के हिसाब से कुल सात एकड़ 92 डि. गैरमजरूआ जमीन बंदोबस्त किया था.

किसान महासभा का प्रथम राजस्थान राज्य सम्मेलन

‘खेत, खेती, किसान बचाओ – एमएसपी गारंटी कानून लाओ कार्पारेट लूट का राज मिटाओ’ नारे के साथ का. रामस्वरुप यादव नगर, का. बजरंग लाल महला हॉल, (सामुदायिक विकास भवन) झुंझुंनू में 28 सितंबर को अखिल भारतीय किसान महासभा का प्रथम राज्य सम्मेलन संपन्न हुआ.

खेग्रामस का देशव्यापी अभियान : यूपी के जिला मुख्यालयों पर गूंज उठे गरीबों के सवाल

उत्तर प्रदेश के जिला मुख्यालयों पर 23 सितंबर को दसियों हजार ग्रामीण गरीबों ने प्रदर्शन कर मनरेगा में 200 दिन काम व 600 रुपए मजदूरी देने, माइक्रो फाइनेंस के कर्ज माफ करने, बिजली बिल माफ करने व 300 यूनिट बिजली फ्री देने, राष्ट्रीय सहारा में जमा गरीबों का पैसा वापस करने व बुलडोजर राज पर पूर्णतः रोक लगाने की मांग की.

महिला मुक्ति के लिए क्रांतिकारी संघर्ष का संकलप : ऐपवा का चौथा दिल्ली राज्य सम्मेलन

अखिल भारतीय प्रगतिशील महिला एसोसिएशन (ऐपवा) का चौथा दिल्ली राज्य सम्मेलन 22 सितंबर को का. हरिकिशन सिंह सुरजीत भवन में सफलतापूर्वक संपन्न हुआ. राज्य सम्मेलन के खुले सत्र में पत्रकार नेहा दीक्षित, पत्रकार निधि सुरेश और ऐपवा की राष्ट्रीय महासचिव कामरेड मीना तिवारी ने दिल्ली भर से आई महिलाओं को संबोधित किया. सम्मेलन में ऐपवा, दिल्ली की तरफ से उन महिला कार्यकर्ताओं को सम्मानित भी किया गया जिन्होंने मोदी सरकार की क्रूर कार्रवाई का साहसपूर्वक सामना किया है.

बिहार के संविदा एएनएम-एएचएम कर्मियों की हड़ताल

बिहार के स्वास्थ्य विभाग के अधीन एएचएम के अंतर्गत संविदा-मानदेय आधारित 20,851 कर्मचारी कार्यरत हैं जिनमे 90% महिला स्वास्थ्य कर्मी हैं. इनमें 2005 से लेकर 2015 तक नियुक्त एएनएम की संख्या करीब 3000 है जबकि शेष की नियुक्ति उसके बाद के वर्षों में (अंतिम समूह 2022 में) हुई है. उनका कार्य स्थल ग्रामीण क्षेत्रों के पंचायतों और दुर्गम ग्रामीण-पहाड़ी स्थानों पर अवस्थित स्वास्थ्य उपकेंद्रों और आंगनबाड़ी केंद्रों पर है. उनको अपने-अपने कार्य स्थलों पर जाने-आने में काफी मुश्किलों का सामना करना पड़ता है.

पूर्वी चंपारण में रसोइया आंदोलन की हुई बड़ी जीत

बिहार में मध्यान्ह भोजन योजना में तेजी से एनजीओ का विस्तार हो रहा है. एनजीओ बिहार के 29 जिलों के 11 हजार विद्यालयों में भोजन की आपूर्ति कर रहे हैं. वे बहुत ही घटिया खाने की आपूर्ति करते हैं जिसे खाकर बच्चे अक्सर ही बीमार पड़ते रहते हैं. बिहार राज्य विद्यालय रसोइया संघ, ऐक्टू के लगातार विरोध के बावजूद सरकार अपने इस निर्णय से पीछे हटने के लिए तैयार नहीं है.

दुकान मालिकों के नाम प्रदर्शित करने के मुख्यमंत्री के ताजा निर्देश की निंदा

लखनऊ, 24 सितंबर : भाकपा(माले) ने खाने-पीने की दुकानों व होटलों के मालिकों के नाम प्रदर्शित करने के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के ताजा निर्देश की निंदा की है. पार्टी ने कहा है कि कांवड़ यात्रा को लेकर इसी तरह के निर्देश पर सुप्रीम कोर्ट पहले ही रोक लगा चुका है.