बिहार मद्यनिषेध और उत्पाद अधिनियम, 2016 पर पुनर्विचार

ऑल इंडिया लॉयर्स एसोसिएशन फॉर जस्टिस

[ऑल इंडिया लॉयर्स एसोसिएशन फॉर जस्टिस (आइलाज) संविधान के मूल मूल्यों को बनाए रखने के लिए कानूनी पेशेवरों का एक प्रतिबद्ध अखिल भारतीय संगठन है. आइलाज अपनी स्थापना  काल  ही से, खास तौर पर कानूनी पहलुओं का विश्लेषण करते हुए, सामाजिक महत्व के मुद्दों को उठाता और आंदोलन करता रहा है.

स्तंभकार के रूप में आरएसएस-भाजपा के नेता

(मिड डे में प्रकाशित वरिष्ठ पत्रकार अजाज अशरफ के लेख का हिंदी अनुवाद)

आउटलुक, जहां मैंने 12 वर्षों तक काम किया, उसपर अटल बिहारी वाजपेयी की सरकार द्वारा डाले गए आयकर के छापों के बाद, विनोद मेहता ने संपादक के तौर पर एक नयी रणनीति अख्तियार कर ली. उन्होंने पहले की अपेक्षा ज्यादा जल्दी-जल्दी राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ- भाजपा के लेखकों के लेख छापने शुरू कर दिये. जैसा कि उन्होंने हमें बताया कि ऐसा यह सुनिश्चित करने के लिए किया जा रहा था ताकि सरकार के साथ अपरिहार्य टकरावों के दौरान, पत्रिका की रक्षा करने वाले भाजपा के लोग उनके पास हों.

संकट में मोदी-अडानी माॅडल

-- अरिंदम सेन

मोदी सरकार को अडानी घोटाले के अपराधियों के नाम खोलने होंगे और उन्हें दंडित करना पड़ेगा

24 जनवरी को हिंडनबर्ग रिसर्च ने जो विस्फोट किया, उससे न केवल उसके निशाने के परखचे उड़ गए, बल्कि अन्य अनेक व्यावसायिक इकाइयों और शेयर बाजार के छोटे खिलाड़ियों पर भी सिलसिलेवार नुकसानदेह असर पड़ा है, और उसने वित्तीय व राजनीतिक तूफान खड़ा कर दिया है.

बिहार: अतीत और वर्तमान पर एक नजर

– प्रो. ओ. पी. जायसवाल

बिहार विरोध, असहमति और अनास्तिकों की एक अनूठी भूमि रही है. इस क्षेत्र में आर्यों का आगमन काफी विलंब से हुआ था, इसीलिए वैदिक साहित्य में मगध की चर्चा नहीं मिलती है. सत्पथ ब्राह्मण में वर्णित विदेह माधव की कथा बताती है कि सरस्वती की भूमि से आए ब्राह्मणों ने मिथिला वंश की स्थापना की थी. अथर्ववेद से हमें जानकारी मिलती है कि व्रात्य लोग आर्य ब्राह्मणवाद के दायरे से बाहर ही रहते थे. मगध् में बहुतेरे घुमक्कड़ भौतिकवादी कट्टर वैदिक जीवन शैली के विरोधी थे – वे सभी अनास्तिक थे.