उत्तर प्रदेश का गैरकानूनी धर्म परिवर्तन निरोधक अधिनियम, 2020, जो महिलाओं की “लव जिहाद” से रक्षा करने का दावा करता है, वास्तव में महिलाओं की स्वायत्तता और इच्छा के खिलाफ हिंसक हमला हैं. यह अध्यादेश – और साथ ही इसी किस्म के अध्यादेश जो उत्तराखंड में लागू हैं तथा भाजपा-शासित अन्य राज्यों में लागू होने की प्रक्रिया में हैं – हिंदू औरतों को ऐसा इन्सान नहीं मानते जो अपनी इच्छानुसार चुनाव कर सकती हैं, बल्कि महज हिंदू समुदाय की सम्पत्ति मानते हैं.