वर्ष - 28
अंक - 29
06-07-2019

30 जून को गांडेय प्रखंड के बलकूडीह में हूल दिवस मनाया गया. अंग्रेजी हुकूमत तथा उनके पिठ्ठू तत्कालीन शोषक-महाजनों के खिलाफ झारखंड की धरती पर ब्रिटिश साम्राज्यवाद के खिलाफ प्रथम स्वतंत्रता आंदोलन 1855 के संथाल बिद्रोह जैसी ऐतिहासिक लड़ाई के नायक अमर शहीद वीर सिद्धो-कान्हो, उनके भाई-बहन चांद भैरव और फूलो-झानो जैसे संथाल बिद्रोह के हजारों शहीदों को सभा कर श्रद्धांजलि दी गई.

सभा में झारखंड को एक बार फिर से साम्राज्यवादी तथा कारपोरेट कंपनियों के लूट का चारागाह बनाने की मौजूदा शासन की खतरनाक साजिश के खिलाफ और झारखंड के जल-जंगल-जमीन-खेती-पर्यावरण-रोजगार आदि पर झारखंडियों के पूरे अधिकार के लिए संघर्ष तेज करने का संकल्प लिया गया और झारखंड में पुनः हुल क्रांति की बिगुल फूंकने का आह्वान किया.