मंहगाई पर रोक लगाने, युवाओं को रोजगार देने, चार श्रम संहिताओं को निरस्त कर पुराने श्रम कानूनों को बहाल करने, तिकोनिया किसान जनसंहार के जिम्मेदार केन्द्रीय गृह राज्य मंत्री को बर्खास्त करने, दलितों, आदिवासियों, महिलाओं, व अल्पसंख्यकों के उत्पीड़न पर रोक लगाने, हरिद्वार धर्मसंसद में भड़काऊ भाषण देने वालों को गिरफ्तार करने, कानून का राज स्थापित करने आदि मांगों को लेकर वामदलों – भाकपा(माले), माकपा, भाकपा और फारवर्ड ब्लाक ने 28 दिसंबर को राज्यव्यापी प्रतिवाद किया. वाम दलों ने इन समस्याओं से संबंधित राष्ट्रपति को सम्बोधित मांग पत्र जिलाधिकारियों को सौपें.
विदित हो कि 22 दिसंबर को माकपा लखनऊ में वामपंथी दलों की संयुक्त बैठक आयोजित हुई. बैठक में केंद्र और प्रदेश की भाजपा सरकारों की दमनकारी फासिस्ट नीतियों की कड़ी निंदा करते हुए नेताओं ने कहा कि मंहगाई और बेकारी की मार से आम जनजीवन अस्त व्यस्त हो गया है. डीजल, पेट्रोल, गैस और आम जरूरत की चीजों की मनमानी कीमतें बढ़ाकर आम जनता की जेब पर डाका डाला जा रहा है. वहीं प्रदेश में योगी राज पुलिस राज में तब्दील हो गया है. पुलिस को अल्पसंख्यकों, दलितों और कमजोर तबके के लोगों को ‘ठोंक देने’ की पूरी छूट दे दी गई है, महिला हिंसा की बाढ़ आई हुई है जिसके चलते लोगों का जीवन असुरक्षित हो गया है. बैठक में बढ़ती बेरोजगारी पर भी गहरी चिंता व्यक्त करते हुए प्रदेश में 25 लाख रिक्त पदों को भरने और 69 हजार शिक्षकों की तुरत भर्ती करने की मांग की गई. बैठक में लखीमपुर खीरी के तिकुनियां हत्याकांड के प्रमुख साजिश कर्ता गृह राज्य मंत्री अजय मिश्रा टेनी को मंत्री पद से तुरन्त बर्खास्त करने और गिरफ्तार करने की मांग की गई.
राजधानी लखनऊ में परिवर्तन चौक से जिला अधिकारी कार्यालय तक मार्च निकालकर सिटी मजिस्ट्रेट के माध्यम से राष्ट्रपति को संबोधित ज्ञापन दिया गया. मार्च का नेतृत्व भाकपा(माले) के जिला प्रभारी रमेश सिंह सेंगर, माकपा के प्रवीण सिंह, फारवर्ड ब्लाक के चंद्रनाथ सिंह ने किया.
इस दौरान कचेहरी में हुई सभा को संबोधित करते हुए वक्ताओं ने कहा कि धर्म संसद के नाम पर खुलेआम नफरत पूर्ण भाषण दिए जा रहे हैं और मुस्लिमों के नरसंहार का आह्वान किया जा रहा है. ऐसा करने वालों की गिरफ्तारी तक नहीं हो रही है. अयोध्या में राम के नाम पर जमीन में घोटाला हुआ है फिर भी मोदी-योगी मौन हैं. 25 लाख नौकरियां रिक्त हैं, भर्ती नहीं की जा रही है. अभी तक गृह राज्य मंत्री को बर्खास्त नही किया गया. वक्ताओं ने कहा कि खाद्य वस्तुओं से लेकर सभी आवश्यक वस्तुओं के दाम इस कदर बढ़ गये हैं कि लोगों का जीवन कठिन हो गया है. भाजपा राज में लोकतंत्र व संविधान की हत्या हो रही है. महिलाओं के साथ बलात्कार तथा दलितों पर हमले बढ़े हैं. कोविड महामारी से निपटने का दावा करने वाली योगी सरकार स्वास्थ्य सुविधाओं में देश में सबसे नीचे है. सभा को उपरोक्त नेताओं के अलावा एक्टू के जिला सचिव मधुसूदन मगन, नौजवान सभा के प्रदेश उपाध्यक्ष राजीव गुप्ता, आइसा की जिला अध्यक्ष,जसम के सह संयोजक मो. कलीम खान, माकपा के छोटे लाल, केके चतुर्वेदी, वंदना, निर्माण मजदूर यूनियन अध्यक्ष नौमीलाल आदि ने संबोधित किया. सभा में ऐपवा नेता कमला गौतम, मंजू गौतम, रमेश शर्मा, रामसेवक रावत, अरविंद कुमार, हरिश्चंद्र, सतीश राव आदि प्रमुख रूप से शामिल थे.
मऊ जनपद में वामदलों ने मार्च कर निकालकर विरोध प्रदर्शन किया. प्रदर्शन में भाकपा(माले), भाकपा, माकपा, इमके, किसान संग्राम समिति, एसयूसीआई;सीद्ध शामिल थे. लखीमपुर-खीरी जिले में भाकपा(माले) राज्य कमेटी सदस्य आरती राय व किसान महासभा नेता कमलेश कुमार राय के नेतृत्व में पलिया बाजार में जूलूस निकालकर कर उपजिलाधिकारी के माध्यम से ज्ञापन भेजा गया. गाजीपुर जिले में वामदलों ने सरयू पार्क में धरना देकर ज्ञापन दिया. इसके अलावा अयोध्या, सोनभद्र, जालौन, कानपुर, मुरादाबाद आदि जिलों में धरना-प्रदर्शन करते हुए ज्ञापन दिया गया.